Tuesday 30 September, 2008

महिला टीवी पत्रकार की गोली मार कर हत्या

महिला प्रड्यूसर सौम्या विश्वनाथन की गोली मार कर हत्या कर दी गई। दिल्ली के पॉश इलाके वंसत कुंज के पास गोली मारकर हत्या की गई। वह ड्यूटी पूरी होने के बाद देर रात घर लौट रही थीं। हत्यारे ने सौम्या की कार के टायर में गोली मारकर उन्हें रोका। इसके बाद कार का शीशा तोड़ सौम्या को गोली मारी। पहले यह मामला कार दुर्घटना का लग रहा था लेकिन पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही साफ हो सका कि सोम्या दुर्घटना में नहीं मरी बल्कि उसे गोली मारी गई है। २६ वर्षीय सौम्या जेएनयू रेडलाइट से आगे वसंत कुंज इलाके में सुबह के साढे तीन बजे के आसपास अपनी कार में मृत पाई गईं। उनकी कार रोड डिवाइडर से टकराई हुई थी। उनका घर वसंत कुंज में है।
खून में लथपथ सौम्या ड्राइविंग सीट पर आगे की ओर झुकी हुई पड़ी थीं। उनकी मौत मौके पर ही हो चुकी थी। हालांकि उन्हें एम्स लाया गया, लेकिन डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। एक गोली उनके सिर के दाएं हिस्से में लगी। कार के एक टायर में भी गोली लगी थी। कार की हालत से साफ था कि रुकने से पहले कंट्रोल से बाहर हो चुकी थी और काफी दूर तक घिसटती चली गई थी।

हत्या की पुष्टि होते हीं पुलिस टीम ने जांच में तेजी लाते हुए हर संभल कोशिश कर रही है कातिल का जल्द से जल्द पता लगाकर दोषियो को सजा दिलायी जाये। कार के अंदर बाल के गुच्छे भी मिले हैं। सोम्या की कार के एक साइ़ड ब्लू रंग का निशान है। हो सकता है जिस कार ने टक्कर मारी है हत्यारा जिस गाड़ी में सवार था उस गाड़ी का निशान हो। फरेंसिक टीम भी इस काम में जुट गई है। सोम्या के मोबाइल की भी जांच की जा रही है कि सोम्या ने किन किन लोगों से बातचीत की।

Wednesday 17 September, 2008

विधायक सुनील पांडे को आजीवन कारावास

बिहार के बाहुबली विधायक सुनील पांडे सहित पांच लोगों को आजीवन कारावास और 50-50 हजार रूपये के जुर्माने की सजा सुनाई गई है। ये सजा उन्हें डॉ रमेश चंद्र के अपहरण के मामले में सुनाया गया है। जिला सत्र न्यायाधीश विजय कुमार मिश्रा ने जनता दल यूनाईटेड के निलंबित विधायक सुनील पांडे, ललन शर्मा, अनिल सिंह, मुन्ना सिंह और धीरज कुमार को डॉ रमेश के अपहरण मामले में दोषी पाया और आजीवन कारावास की सजा सुनाई।

बिहार में एक समय इतने अपहरण होने लगे थे कि बिहार को अपहरण का उद्योग कहा जाने लगा था। इसमें कई बाहुबली नेता शामिल थे। लेकिन कोई प्रमाण नहीं मिलने के कारण वे बच निकलते थे। लेकिन पिछले कुछ वर्षों से न्यायपालिका ने काफी तेजी से काम करना शुरू कर दिया है। इसी का परिणाम है कि बिहार के कई बाहुबली नेता इन दिनों सलाखो के पीछे हैं। इनमें से कोई हत्या में शामिल है तो कोई अपहरण में। सभी लोग संगीन अपराध में लिप्त पाये गये हैं और जेल में हैं।

मुहम्मद शहाबुद्दीन, राजेश रंजन यादव उर्फ पप्पू यादव, सूरजभान सिंह, आनंद मोहन सिंह, सुनील पांडे, राजन तिवारी ऐसे दर्जनों बाहुबली हैं जो सरेआम पुलिस-प्रशासन को चुनौती देते रहे हैं। ये लोग जब जेल से बाहर थे उस दौर में बिहार अपहरण उद्योग के नाम से जाने जाना लगा था। आज भी अपहरण का सिलसिला जारी है। लेकिन राज्य में जिस प्रकार से पुलिस-प्रशासन- न्यायलय काम कर रही है उसे देख यही लगता है कि अब लोग अपराध करने से जरूर डरेंगे। यहां भी भयमुक्त वातावरण बनेगा। उद्योग धंधे लगेगे। लोगो को रोजगार मिलेगा। यदि अपराध पर लगाम नहीं लगता है तो बिहार का उद्योगिकरण होना बहुत मुश्किल है। बेरोजगारी बनी रहेगी।

Saturday 13 September, 2008

दिल्ली धामके में 18 की मौत, एक छोटा बच्चा ने देखा आंतकवादियों को बम रखते हुए, दो जिंदा बम बरामद

दिल्ली में हुए आंतकवादी हमले में मरने वालों की संख्या लगातार बढती जा रही है। अब तक 18 लोगों की मौत हो चुकी है। 80 से अधिक लोग घायल है। 30 मिनट में पांच धमाके हुए हैं। इस बीच खबर आई है कि आंतकवादियों को बम रखते हुए एक आठ साल का छोटा बच्चा ने अपने आंखों से देखा है। पुलिस ने पूरे दिल्ली इलाके को घेर कर छानबीन शुरू कर दी है। इस दौरान इंडिया गेट और रिगल बिल्डिग के पास से पुलिस ने बम बरामद किया है।

चश्मदीद बच्चे ने बताया कि आंतकवादी काले रंग का कुर्ता पाजामा पहने हुए था। चेहरे पर हल्का हल्का दाढी था। इस बच्चे को पुलिस अपने साथ ले गई है। पुलिस उससे घटनाओं के बारे में और जानना चाहेगी ताकि आंतकवादियों के हुलिये के बारे मे और जानकारी मिल सके।

इस बम धमाके के पीछे इंडियन मुजाहिदीन का नाम आ रहा है। जिन जगहों पर विस्फोट हुए वे जगह हैं – कनॉट प्लेस के सेंट्रल पार्क, कनॉट प्लेस के पास ही मोहन दास बिल्डिंग, ग्रेटर कैलाश और करोल बाग।

जिन-जिन जगहों पर विस्फोट हुए वे सभी राजधानी के भीड़भाड़ वाले इलाके हैं। इनमें कनॉट प्लेस राजधानी दिल्ली का हर्ट है। मोहनदास बिल्डिंग भी दिल्ली के हर्ट में हीं है। करोल बाग देश में महत्वपूर्ण बाजारों में से एक है। ग्रेटर कैलाश पॉश इलाका है। यहां देश करोड़पति लोग रहते हैं।

गुजरात के बाद दिल्ली में हुए विस्फोट ने सुरक्षा सिस्टम को नये सिरे से विचार करने पर मजबूर कर दिया है। आंतकवादियों को पकडने के लिये पुलिस ने पूरे इलाके को घेर लिया है।

दिल्ली में आंतकवादी हमला, पांच से अधिक की मौत, इंडियन मुजहिदीन ने ली जिम्मेदारी

दिल्ली में चार जगहों पर सिलसिलेवार बम धमाके हुए। इसमें पांच से अधिक लोगो की मरने की खबर हैं और 80 से अधिक लोग घायल हैं। इस बम धमाके के पीछे इंडियन मुजाहिदीन का नाम आ रहा है। जिन जगहों पर विस्फोट हुए वे जगह हैं – कनॉट प्लेस के सेंट्रल पार्क, कनॉट प्लेस के पास ही मोहन दास बिल्डिंग, ग्रेटर कैलाश और करोल बाग। ये सारे बम कुड़ेदान में रखे गये थे।

जिन-जिन जगहों पर विस्फोट हुए वे सभी राजधानी के भीड़भाड़ वाले इलाके हैं। इनमें कनॉट प्लेस राजधानी दिल्ली का हर्ट है। मोहनदास बिल्डिंग भी दिल्ली के हर्ट में हीं है। करोल बाग देश में महत्वपूर्ण बाजारों में से एक है। ग्रेटर कैलाश पॉश इलाका है। यहां देश के करोड़पति लोग रहते हैं।

गुजरात के बाद दिल्ली में हुए विस्फोट ने सुरक्षा सिस्टम को नये सिरे से दुरूस्त करने पर विचार करने को मजबूर कर दिया है। आंतकवादियों को पकडने के लिये पुलिस ने पूरे इलाके को घेर लिया है। ऐहतियात के सारे कदम उठाये जा रहे हैं।